डिंपल यादव को मैनपुरी लोकसभा उपचुनाव में जीत पर सीएम नीतीश कुमार ने दी बधाई, कहा- 2024 के लिए बड़ी बात

डिंपल यादव ने अपने निकटतम प्रतिद्वंदी भाजपा के रघुराज सिंह शाक्य को दो लाख 88 हजार 461 मतों से पराजित किया. इस तरह एक बार सपा फिर अपने गढ़ को बचाने में कामयाब हो गई.

डिंपल यादव को मैनपुरी लोकसभा उपचुनाव में जीत पर सीएम नीतीश कुमार ने दी बधाई, कहा- 2024 के लिए बड़ी बात
डिंपल यादव, बिहार के मुख्यमंत्री नीतिश कुमार

उत्तर प्रदेश की मैनपुरी लोकसभा सीट पर डिंपल यादव के ऐतिहासिक जीत हासिल करने के बाद सपा के कार्यकर्ताओं और नेताओं में खुशी की लहर है. तमाम दिग्गज हस्तियां डिंपल यादव को इस जीत पर बधाई  दे रही है. 

बिहार के मुख्यमंत्री नीतिश कुमार ने डिंपल यादव को मैनपूरी सीट पर उपचुनाव में जीत हासिल करने पर बधाई दी है. नीतिश कुमार ने गुरुवार को बधाई देते हुए कहा कि "उत्तर प्रदेश के मैनपुरी संसदीय क्षेत्र के उपचुनाव में समाजवादी पार्टी की उम्मीदवार डिंपल यादव की भारी जीत पर उन्हें हार्दिक बधाई. समाजवादी पार्टी के अध्यक्ष एवं उत्तर प्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री अखिलेश यादव जी को भी बधाई व शुभकामनाएं." नीतीश कुमार ने कहा कि उम्मीद है कि विपक्ष एकजुट होगा और 2024 के लोकसभा चुनाव में वह भाजपा को हराएगा. 

रघुराज दो लाख 88 हजार 461 मतों से पराजित

गौरतलब है कि मैनपुरी लोकसभा सीट पर मुलायम सिंह यादव की विरासत को बचाने के लिए डिंपल यादव मैदान में थीं. डिंपल यादव ने अपने निकटतम प्रतिद्वंदी भाजपा के रघुराज सिंह शाक्य को दो लाख 88 हजार 461 मतों से पराजित किया. इस तरह एक बार सपा फिर अपने गढ़ को बचाने में कामयाब हो गई. मालूम हो की मैनपुरी लोकसभा सीट पर वर्ष 1996 से चला आ रहा सपा का कब्जा बरकरार रहा.

शिवपाल के विधानसभा में 1 लाख से ज्यादा की मिली बढ़त 

बता दें की  मैनपुरी लोकसभा चुनाव में शिवपाल ने सपा अध्यक्ष अखिलेश यादव के साथ मनमुटाव दूर करते हुए इस उपचुनाव में डिंपल के पक्ष में जोर-शोर से प्रचार किया था और लंबे वक्त के बाद पूरा यादव कुनबा एकजुट नजर आया था. मालूम हो कि डिंपल को सबसे ज्यादा एक लाख छह हजार 497 मतों की बढ़त सपा अध्यक्ष अखिलेश यादव के चाचा शिवपाल सिंह यादव के विधानसभा निर्वाचन क्षेत्र जसवंत नगर से मिली.

प्रसपा का सपा में विलय 

मैनपुरी लोकसभा में हुए उपचुनाव के लिए वोटों की गिनती के दौरान सपा उम्मीदवार डिंपल यादव के निर्णायक बढ़त बनाने के बाद समाजवादी पार्टी और प्रगतिशील समाजवादी पार्टी (लोहिया) के विलय का फैसला हुआ. खुद अखिलेश यादव ने पार्टी का झंडा शिवपाल यादव को देते हुए विलय के फैसले पर मोहर लगा दी है. अखिलेश यादव ने ट्वीट कर कहा कि सपा-प्रसपा के साथ आने से समाजवादी आंदोलन और सौहार्द की सकारात्मक राजनीति की शक्ति दोगुनी हो गई है