अतीक के बेटे की कब्र तैयार, कसारी मसारी कब्रिसतान में दफनाया जाएगा
बेटे असद के जनाजे में माफिया अतीक अहमद शामिल नहीं हो पाएगा. इसके लिए अतीक अहमद की फरियाद डीएम के यहां भी दाखिल नहीं हो सकेगी.
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माफिया से राजनेता बना अतीक अहमद के लिए गुरुवार का दिन बेहद मुश्किल भरा रहा. एक तरफ इलाहाबाद में सुनवाई चल रही थी तो दूसरी ओर उमेश पाल हत्याकांड में आरोपी असद का एनकाउंटर चल रहा था. कोर्ट में बेटे असद के एनकाउंटर की खबर सुनते ही अतीक के होश उड़ गए. वह अपने आप को रोक नहीं पाया, वह रोने लगा. जिस प्रयागराज में अतीक की तूती बोलती थी उसी प्रयागराज में अतीक पर जूता, चप्पल, बोतलें फेंकी गईं.
अतीक के घर लाया जा रहा शव
एनकाउंटर के बाद असद का शव झांसी के महारानी लक्ष्मीबाई मेडिकल कॉलेज में पोस्टमॉर्टम के बाद प्रयागराज अतीक के घर लाया जा रहा, फिर कसारी मसारी टेलीफोन एक्सचेंज के पास स्थित कब्रिस्तान में दफनाया जाएगा. कसारी मसारी कब्रिस्तान में दफनाने की तैयारियां पूरी कर ली गई हैं.
बेटे के जनाजे में नहीं शामिल हो पाएगा अतीक
बेटे असद के जनाजे में माफिया अतीक अहमद शामिल नहीं हो पाएगा. इसके लिए अतीक अहमद की फरियाद डीएम के यहां भी दाखिल नहीं हो सकेगी. दरअसल, डीएम को सिर्फ न्यायिक हिरासत में जेल में रह रहे लोगों को ही विशेष परिस्थितियों में अधिकतम 72 घंटे तक की पैरोल देने का अधिकार है.
5 घंटे में हुआ पोस्टमार्टम
3 डॉक्टरों के पैनल ने गुरुवार देर रात 2 बजे तक 5 घंटे असद और गुलाम का पोस्टमॉर्टम किया. रिपोर्टस के मुताबिक, असद को दो गोलीयां लगीं थी. पहली गोली पीछे से पीठ में लगकर दिल और सीने को चीरते हुए बाहर निकल गई और दूसरी गोली सामने से सीने में लगी और गले में जाकर फंस गई. जबकि शूटर गुलाम एक ही गोली लगी. जो पीठ में लगकर दिल और सीने को चीरते हुए बाहर निकल गई.
अपराधियों के खिलाफ जीरो टॉलरेंस की नीति: ब्रजेश पाठक
माफिया अतीक अहमद के मामले में यूपी के उप मुख्यमंत्री ब्रजेश पाठक ने कहा- हमारी अपराधियों के खिलाफ जीरो टॉलरेंस की नीति है. अपराधियों के समर्थन में जो राजनीतिक दल खड़े हैं उन्हें प्रदेश की जनता देख रही है. अदालत जो निर्णय लेगी हम उसका पालन करेंगे.