Nag Panchami: काल सर्प दोस से प्रभावित लोग करें ये उपाव, मेष और वृषभ राशि वाले करें इन मंत्रो का जाप

नाग पंचमी की पूजा का हिंदू धर्म में बहुत ही महत्व माना जाता है. नाग पंचमी के दिन नाग देव को प्रसन्न करने से आपके जीवन से सभी कष्ट दूर होते हैं

Nag Panchami: काल सर्प दोस से प्रभावित लोग करें ये उपाव, मेष और वृषभ राशि वाले करें इन मंत्रो का जाप
प्रतीकात्मक तस्वीर

नाग पंचमी की पूजा का हिंदू धर्म में बहुत ही महत्व माना जाता है. नाग पंचमी के दिन नाग देव को प्रसन्न करने से आपके जीवन से सभी कष्ट दूर होते हैं और सुख का आगमन होता है. मगर इसके अतिरिक्त भी नाग पंचमी की पूजा महत्वपूर्ण मानी जाती है. नाग पंचमी के दिन किए गए उपायों से आप अपने कुंडली के दोषों का निवारण कर सकते हैं. यदि आपकी कुंडली में राहु-केतु बुरी दशा में हो, महादशा हो या कालसर्प दोष हो तो इसका भी निवारण किया का सकता है. ऐसी कुंडली वाले व्यक्ति चांदी अथवा पंचधातु से निर्मित नाग और नागिन का जोड़ा शिवलिंग पर चढ़ाएं.    इससे आपको अच्छा फल मिलेगा और आपके जीवन से ये दोष और इनके बुरे प्रभाव हटेंगे.


पूजा का शुभ मुहूर्त 

इस वर्ष नाग पंचमी की तिथि 12 अगस्त की दोपहर 3:00 बज कर 24 मिनट से शुरू होगी और 13 अगस्त के 1:42 तक ही रहेगी. लेकिन उदया तिथि के हिसाब से नाग पंचमी का त्योहार 13 अगस्त को ही मनाया जाना चाहिए इस दिन आपको सुबह 5:49 से 8:28 तक के बीच में पूजा करनी चाहिए क्योंकि यह मुहूर्त बहुत ही शुभ है.   जो लोग कालसर्प दोष और राहु-केत के अशुभ प्रभाव से पीड़ित हैं. उनके लिए नाग पंचमी का दिन सबसे अच्छा माना जाता है. इस दिन अगर कालसर्प दोष से प्रभावित लोग पूजा करेंगे तो उन्हें उनके कष्टों से रहत मिलगी.  उन लोगों को सिर्फ ये सरल उपाय करने होंगे

काल सर्प दोस के उपाय 

जातक खुद भी नागपंचमी के दिन काल सर्प दोष की शांति के लिए पूजा कर सकता है. वे “ॐ रां राहुवे नम:” या ॐ कुरूकुल्ये हुं पट स्वाहा मंत्र का 108 बार जाप करें, उसके बाद भगवान शिव की या नाग-नागिन की प्रतिमा पर दूध अर्पित करें.  नागपंचमी के दिन जातको को काले तिल, काले उड़द,काली राई, नीला वस्त्र, जामुन, काला साबुन, कच्चे कोयले, सिक्का-रांगा या लैड आदि दान करें या इसे बहते हए पानी में प्रवाहित करें. माध्यता है कि ऐसा करने से कालसर्प दोष से मुक्ति मिलती है.  


1. मेष राशि के लिए मंत्र

ॐ वासुकेय नम


2. वृषभ राशि के लिए मंत्र

ॐ शुलिने नम


3. मिथुन राशि के लिए मंत्र

ॐ सर्पाय नम


4. कर्क राशि के लिए मंत्र

ॐ अनंताय नम


5. सिंह राशि के लिए मंत्र

ॐ कर्कोटकाय नम


6. कन्या राशि के लिए मंत्र

ॐ कंबलाय नम


7. तुला राशि के लिए मंत्र

ॐ शंखपालय नम


8. वृश्चिक राशि के लिए मंत्र

ॐ तक्षकाय नम


9. धनु राशि के लिए मंत्र

ॐ पृथ्वीधराय नम


10. मकर राशि के लिए मंत्र

ॐ नागाय नम


11.कुंभ राशि के लिए मंत्र

ॐ कुलीशाय नम


12. मीन राशि के लिए मंत्र

ॐ अश्वतराय नम