ताजमहल के 22 बंद कमरों को खुलवाने की मांग, भगवान शिव की है मूर्तियां

उत्तर प्रदेश में ज्ञानवापी मस्जिद के बाद अब ताजमहल से जुड़ा नया विवाद सामने आया है. इलाहाबाद हाईकोर्ट की लखनऊ बेंच में याचिका दाखिल है कि आगरा के ताजमहल में भगवान शिव का मंदिर है.

ताजमहल के 22 बंद कमरों को खुलवाने की मांग, भगवान शिव की है मूर्तियां
प्रतीकात्मक तस्वीर

उत्तर प्रदेश में ज्ञानवापी मस्जिद के बाद अब ताजमहल से जुड़ा नया विवाद सामने आया है. ताजमहल के ऊपरी और निचले हिस्से में 22 कमरे हैं, जिन्हें बंद किया गया है. इन्हीं में से 20 कमरों को खुलवाने की मांग की गई है. जहां मुर्तियां और साक्ष्य मौजूद होने का दावा किया गया है.

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ताजमहल पर याचिका

आपको बता दें कि, ताजमहल को तेजो महल बताने वाले की संख्या अब दिनों दिन बढ़ती जा रही है. बीते दिनों अयोध्या के परमहंस दास ने ताजमहल में भगवान शिव की पिंडी होने का दावा किया था. मिली जानकारी के अनुसार, अयोध्या की बीजेपी इकाई के मीडिया प्रभारी याचिकाकर्ता डॉ. रजनीश कुमार सिंह ने अधिवक्ता रूद्र विक्रम सिंह के माध्यम से इलाहाबाद हाईकोर्ट की लखनऊ बेंच में एक याचिका दाखिल की है. इसमें उन्होंने दावा किया है कि ताजमहल में एक पुराना शिव मंदिर है. शिव मंदिर की मूर्तियां और शिलालेख मुगल सम्राट शाहजहां ने ताजमहल के अंदर छिपा दिए है.

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इमारत में गुप्त कमरे

सूत्रों के अनुसार, ताजमहल की चार मंजिला इमारत के ऊपरी हिस्से में 22 कमरे है. जोकि स्थाई तौर पर बंद किए गए है. याची ने एएसआई से ताजमहल परिसर के बंद कमरों के दरवाजे खोलने की मांग की है. उनका दावा है कि इन कमरों के भीतर भगवान शिव की मूर्तियां शिलालेख और महत्वपूर्ण साक्ष्य है. जोकि बताते हैं कि ताजमहल से पहले यहां भगवान शिव का मंदिर था. उन्होंने दावा किया है कि इतिहासकारों ने भी भगवान शिव का मंदिर होने की बात स्वीकारी है.