बॉलीवुड के मशहूर फैशन डिज़ाइनर स्वप्रिल शिंदे ने अपनी पहचान को लेकर दुनिया के सामने एक बड़ा खुलासा किया है। स्वप्रिल शिंदे अब सायशा शिंदे बन गई है। इसके साथ-साथ गुरुवार को दुनिया ने स्वप्रिल शिंदे का एक अलग रूप देखा जब उन्होंने एक महिला बनने के बाद अपनी तस्वीर सोशल मीडिया पर पोस्ट की।आपको बता दें कि महिला बनने से हमारा मतलब यह है कि स्वप्रिल शिंदे ने सेक्स चेंज करवाकर अब खुद को ट्रांसवुमन होने की पुष्टि की है। यही नहीं स्वप्रिल शिंदे के सायशा शिंदे बनने के बाद से सोशल मीडिया पर कई फिल्मी हस्तियों के सिएक्शन सामने आ रहे है जिसमें हिना खान, करीना कपूर, दीपिका पादुकोण, अनुष्का शर्मा ने स्वप्रिल शिंदे के इस फैसले की खूब प्रशंसा की है।
मशहूर एक्ट्रेस हिना खान ने सायशा शिंदे की तस्वीर को किया पोस्ट
फैशन डिजाइनर स्वप्निल शिंदे के साथ काम कर चुकीं मशहूर एक्ट्रेस हिना खान ने उनके ट्रांसवुमन होने पर अपनी प्रतिक्रिया दी है। हिना खान ने अपने इंस्टाग्राम पर ट्रांसवुमन के रूप में शिंदे की तस्वीर को फिर से पोस्ट उनके फैसले की तारीफ की है। जिसमें हिना खान ने कैप्शन में लिखा लिंग के आधार पर पहचान बनाई जा सकती है लेकिन इसे खुद में पहचान पाना अपनापन से जोड़ता है। सायशा शिंदे में जो गर्मजोशी और विशिष्टता, रचनात्मकता और उदारवाद, क्षमता और शांति है वह उसकी आत्मा की शक्ति पर आधारित है। आपको बता दें कि मशहूर फैशन डिजाइनर स्वप्निल शिंदे ने कटरीना कैफ, कियारा आडवाणी से लेकर सनी लियोनी जैसे तमाम बॉलीवुड सितारों के लिए कई फैशन ड्रेस को डिजाइन कर चुके हैं।
जानिए स्वप्रिल शिंदे ने सायशा शिंदे बनने की कहानी
आपको बता दें कि स्वप्रिल शिंदे ने सायशा शिंदे बनने के बाद अपने इंस्टाग्राम अकांउट पर उन्होंने लिखा कि चाहे आपका जन्म कहीं भी हुआ हो लेकिन हमेशा कुछ ऐसा होगा जो आपको आपके बचपन की याद दिलाता है। वही मेरे लिए यह मुझे उस तरह के अकेलेपन में ले जाता है जो मुझे दर्द देता है जो मुझे अधेरे में धकेलता है। यही नहीं जब मैं स्कूल और काॅलेज में गया तो उस दौरान लड़कों ने मुझे बहुत परेशान किया क्योंकि मैं दूसरो से अलग था। उस समय का आतंरिक दर्द बहुत ज्यादा बुरा था।
स्वप्रिल शिंदे ने दुनिया के सामने बयां किया दर्द
स्वप्रिल शिंदे ने बचपन में उनके साथ हुए दुव्यवहार के दर्द को सबसे सामने बयान किया है जिसमें उन्होंने लिखा है कि मुझे लगता है कि मैं रियलिटी लाइफ को जीने के लिए अंदर ही अंदर बहुत घुटन महसूस करता था। हर रोज मैं सामाजिक अवहेलना का शिकार होता था। वही उन्होंने काॅलेज के दिनों को याद करते हुए लिखा कि जब मैं नेशनल इंस्टिट्यूट ऑफ़ फैशन टेक्नोलॉजी में गया तो मुझे अपनी सच्चाई स्वीकार करने का साहस मिला। मैंने वहां कई साल बिताएं क्योंकि मैं समलैंगिग (गे) था तो उस समय पुरुषों की ओर ज्यादा आकर्षित होता था लेकिन ये केवल 6 साल तक ही रहा। उसके बाद मैंने खुद को स्वीकार कर लिया और आज मैं पूरी तरह से स्वीकार करता हूं कि समलैंगिक व्यक्ति नहीं बल्कि ट्रांसवुमन हूं।